Arranged marriage मधली पहिली भेट ही जरा जास्तच akward असू शकते. पण शेवटी सर्व अवलंबून असतं तर समोरच्या व्यक्तीवर की तो किंवा ती आपल्याला किती comfortable बनवते आणि आपण सुद्धा त्याची किवी तिची केवढी साथ देतो.
Category Archives: Narrative
नोक झोंक
रिश्तों में छोटी मोटी नोंक झोंक होना तो आम बात है। यह अटल है। लेकिन इस नोंक झोंक को कितना खींचना है यह हम पर निर्भर करता है। उससे क्या उत्पन्न होगा यह हमें तय करना है। बनी बात बिगड़ जा सकती और बिगड़ी बात बन सकती है, करना क्या है यह हमपर निर्भर करता है। क्योंकि एक बात सच है कि इन्हीं नोंक झोंक से रिश्ते बिखर सकते या और मजबूत हो सकते है!
